उत्पाद विवरण:-
- प्रकाशक: मंजुल (1 जनवरी 2009)
- भाषा: अंग्रेजी
- हार्डकवर: 220 पृष्ठ
- आइटम का वज़न: 340 ग्राम
- आयाम: 20 x 14 x 4 सेमी
- उत्पत्ति का देश: भारत
समीक्षा:-
पुस्तक की गुणवत्ता (पेपर, हार्डकवर, प्रिंटिंग) लगभग 300 की कीमत को देखते हुए शानदार है। जहां तक सामग्री का सवाल है, यह स्पष्ट भाषा में लिखी गई है, लेकिन विचार नए नहीं हैं... मुझे यकीन है कि लेखक ने दर्जनों पुस्तकें पढ़ी हैं। -इसे लिखने से पहले किताबों की मदद लें....यदि आप एक शौकीन स्व-सहायता पाठक हैं तो इस किताब को पढ़ते समय आपको भी ऐसा ही महसूस होगा। --अनुपम पांडे 22 अगस्त 2015
लेखक के बारे में:-
महत्रिया रा, समग्र प्रचुरता के मार्ग पर मानवता को जागृत करने के मिशन के साथ, बीस साल पहले एक यात्रा पर निकले थे। तब से, उनका एकमात्र उद्देश्य प्रत्येक मानव जीवन में 'अंतर लाना' और हर किसी के लिए संभव और व्यावहारिक उच्च स्तर पर जीवन जीना सक्षम बनाना रहा है।
मूल्य आधारित जीवन के एक उत्साही प्रचारक और मानव क्षमता की शक्ति में दृढ़ विश्वास रखने वाले, महत्रिया प्रतिबद्धता की अटूट भावना से प्रेरित हैं। वह, एक के लिए, मानता है कि संदेशवाहक को संदेश होना चाहिए। भौतिकवादी और आध्यात्मिक दुनिया में सामंजस्य बिठाने की उनकी कुशलता उनकी जीवनशैली में खूबसूरती से झलकती है।